यूसुफ के भाइयों का कनान लौटना (Joseph's brothers return to Canaan) - YISHU KA SANDESH

यूसुफ के भाइयों का कनान लौटना (Joseph's brothers return to Canaan)

यूसुफ के भाइयों का कनान लौटना:-

                              25 तब यूसुफ ने आज्ञा दी कि उनके बोरे अन्न से भरो और एक एक जन के बोरे में उसके रुपये को भी रख दो, फिर उनको मार्ग के लिये भोजनवस्तु दो । अतः उनके साथ ऐसा ही किया गया 26 तब वे अपना अन्त्र अपने गदहों पर लादकर वहाँ से चल दिए । 27 सराय में जब एक ने अपने गदहे को चारा देने के लिये अपना बोरा खोला, तब उसका रुपया बोरे के मुँह पर रखा हुआ दिखलाई पड़ा । 28 तब उसने अपने भाइयों से कहा, "मेरा रुपया तो लौटा दिया गया है; देखो, वह मेरे बोरे में है," तब उनके जी में जी न रहा, और वे एक दूसरे की ओर भय से ताकने लगे, और बोले, "परमेश्वर ने यह हम से क्या किया है ।" 29 तब वे कनान देश में अपने पिता याकूब के पास आए, और अपना सारा वृत्तान्त उसे इस प्रकार सुनाया: 30 "जो पुरुष उस देश का स्वामी है, उसने हम से कठोरता के साथ बातें की, और हम को देश के भेदिए कहा । 31 तब हम ने उससे कहा, 'हम सीधे लोग हैं, भेदिए नहीं । 32 हम बारह भाई एक ही पिता के पुत्र हैं; एक तो जाता रहा, परन्तु छोटा इस समय कनान देश में हमारे पिता के पास है । 33 तब उस पुरुष ने, जो उस देश का स्वामी है, हम से कहा, 'इस से मालूम हो जाएगा कि तुम सीधे मनुष्य हो, तुम अपने में से एक को मेरे पास छोड़ के अपने घरवालों की भूख मिटाने के लिये कुछ ले जाओ, 34 और अपने छोटे भाई को मेरे पास ले आओ । तब मुझे विश्वास हो जाएगा कि तुम भेदिए नहीं, सीधे लोग हो। फिर मैं तुम्हारे भाई को तुम्हें सौंप दूंगा, और तुम इस देश में लेन देन कर सकोगे ।"


35 यह कहकर वे अपने अपने बोरे से अन्न निकालने लगे, तब क्या देखा कि एक एक जन के रुपये की थैली उसी के बोरे में रखी है । तब रुपये की थैलियों को देखकर वे और उनका पिता बहुत डर गए । 36 तब उनके पिता याकूब ने उनसे कहा, “मुझ को तुम ने निर्वंश कर दिया, देखो, यूसुफ नहीं रहा, और शिमोन भी नहीं आया, और अब तुम बिन्यामीन को भी ले जाना चाहते हो । ये सब विपत्तियाँ मेरे ऊपर आ पड़ी हैं ।" 37 रूबेन ने अपने पिता से कहा, “यदि मैं उसको तेरे पास न लाऊँ, तो मेरे दोनों पुत्रों को मार डालना; तू उसको मेरे हाथ में सौंप दे, मैं उसे तेरे पास फिर पहुँचा दूंगा ।" 38 उसने कहा, 'मेरा पुत्र तुम्हारे संग न जाएगा; क्योंकि उसका भाई मर गया और वह अब अकेला रह गया है इसलिये जिस मार्ग से तुम जाओगे, उसमें यदि उस पर कोई विपत्ति आ पड़े, तब तो तुम्हारे कारण मैं इस बुढ़ापे की अवस्था में शोक के साथ अधोलोक में उतर जाऊँगा ।" 

    जय मसीह की । || कविता पोरिया   

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